सौरभ वीपी वर्मा
तहकीकात समाचार
मामला सिद्धार्थनगर जनपद के डुमरियागंज विकासखंड के अंतर्गत आने वाली ग्राम पंचायत गरदहिया की है जहां पर सरकार द्वारा करोड़ों रुपए की योजनाओं को स्थापित किया गया है लेकिन बंदरबांट भ्रष्टाचार एवं कमीशन खोरी की जाल ने ग्राम पंचायत को बद से बदतर हालात ने पहुंचा दिया है ।
टीम तहकीकात द्वारा ग्राम पंचायत गरदहिया में लागू की योजनाओं की पड़ताल की गई तो पता चला सरकार द्वारा चलाई जा रही अधिकांश योजनाओं की धज्जी उड़ गई है ।
ग्राम पंचायत में स्थापित प्राथमिक विद्यालय में पूर्व प्रधान द्वारा लगाए गए टाइल्स को दिखाकर वर्तमान प्रधान ने उसी प्रांगण में स्थिति पूर्व माध्यमिक विद्यालय के भवन में टाइल्स निर्माण का काम दिखा कर करीब डेढ़ लाख रुपये का भुगतान ले लिया लेकिन ग्राम पंचायत की योजनाओं को लागू करने वाले सचिव एवं खण्डविकास अधिकारी ने कार्य की स्थिति का जायजा लेने की जहमत नही उठाई जिसका परिणाम रहा कि ग्राम विकास के पैसे को प्रधान और ब्लॉक अधिकारी द्वारा गबन कर लिया गया।
इसी प्रांगण में स्थित प्राथमिक विद्यालय के शौचालय मरम्मत के नाम पर प्रधान द्वारा करीब 16000 रुपये का भुगतान लिया गया लेकिन स्कूल के शौचालय को देखने के बाद इसके जिम्मेदार लोगों को शर्म नही आती है ।मई 2022 में भुगतान लेने के बाद आज तक स्कूल की दशा सुधारने का कोई प्रयास नही किया गया जिसके चलते गांव के विकास के लिए आने वाला धन प्रधान के विकास और ब्लॉक के अधिकारियों और कर्मचारियों के कमीशन में खत्म हो गया ।
फोटो-तहकीकात समाचार
सरकार द्वारा स्वच्छ भारत मिशन योजना के तहत ग्राम पंचायतों में सामुदायिक शौचालय बनाने का काम बड़े जोर शोर से किया गया लेकिन भ्रष्टाचार एवं कमीशन खोरी ने इस योजना को भी रसातल पर पहुंचा दिय । ग्राम पंचायत में स्थापित सामुदायिक शौचालय की स्थिति यह है कि लाखों रुपया खर्च करने के बाद भी शौच के लिए लोग उसके अगल-बगल खाली जमीनों का प्रयोग कर रहे हैं । इसके बारे में पूछने पर प्रधान ने बताया कि शौचालय जर्जर हो गया है इसलिए उसका प्रयोग नही हो रहा है ।
इसी प्रकार ग्राम पंचायत में साफ सफाई के नाम पर करीब 2 लाख रुपये का भुगतान लिया गया जिसमें सफाई अभियान एवं ठेला आदि की खरीदारी दिखाई गई है , लेकिन जिस तरह से ग्राम पंचायत में भ्रष्टाचार ने पांव पसारा हुआ है उसी प्रकार से पूरे गांव में गंदगी का अंबार लगा हुआ है ।
भ्रष्टाचार कमीशन खोरी एवं गबन ने इस प्रकार से जिम्मेदार लोगों की नैतिकता का पतन कर दिया है कि ग्राम पंचायत में स्थित है पूर्व माध्यमिक विद्यालय एवं प्राथमिक विद्यालय पर जाने के लिए आज तक मुकम्मल रास्ते का इंतजाम नहीं हो पाया जिसका परिणाम है कि खेतों में भरे पानी के रास्ते से होते हुए अध्यापकों एवं बच्चों को स्कूल में जाने के लिए मजबूर होना पड़ता है ।
अब सबसे बड़ा सवाल इस बात का है कि जिस ग्राम पंचायत को समग्र एवं समेकित विकास के क्षेत्र में आगे लाने की बात सरकार द्वारा की गई ,और इसके लिए ग्राम विकास अधिकारी ,ग्राम पंचायत अधिकारी ,खंडविकास अधिकारी और अन्य जिम्मेदार लोगों की तैनाती की गई ताकि योजनाओं को अमली जामा पहनाया जा सके तो आखिर इन लोगों ने गांव के निगरानी में क्या किया कि लाखों रुपया गबन हो जाने के बाद किसी को कानों कान पता नही चल पाया ।
इस मामले में प्रधान मोहम्मद वसीम से बात हुई तो उन्होंने स्वीकार किया कि पैसे का भुगतान होने के बाद अभी तक काम नही कराया गया है ।
इस संबंध में मुख्य विकास अधिकारी जयेंद्र कुमार से बात हुई उन्होंने कहा सरकार द्वारा चलाई जा रही योजनाओं को बेहतर ढंग से क्रियान्वित करने के लिए काम किया जा रहा है , लेकिन यह बेहद गंभीर मामला है कि ग्राम पंचायत में बिना काम कराए पैसे का भुगतान हो गया है । उन्होंने कहा कि इसकी जांच करा कर आवश्यक कार्रवाई की जाएगी ।