"काला धन आएगा" यह चुनौती है या पीएम मोदी की नाकामी ,क्या है इसका "रहस्य" - तहक़ीकात समाचार

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बुधवार, 8 जनवरी 2020

"काला धन आएगा" यह चुनौती है या पीएम मोदी की नाकामी ,क्या है इसका "रहस्य"

स्वच्छ भारत मिशन का बजट नेता ,मंत्री और अधिकारी खा गए, डिजिटल इंडिया देश का सबसे बड़ा घोटाला है ,आदर्श ग्राम पंचायत योजना पीएम मोदी की सबसे बड़ी विफलता है ,नमामि गंगे योजना के नाम पर मुट्ठी भर ठेकेदारों और विभागीय अधिकारियों एवं नेताओं ने पूरे बजट को ही लूट लिया, "काला धन आएगा" यह चुनौती है या पीएम मोदी की नाकामी इस "रहस्य"  पर किताब लिखी जानी चाहिए, किसानों का आय दोगुना होगा इसका कोई भी संकेत नही है,बेरोजगारी का आलम यह है कि बस्ती जैसे शांतप्रिय शहर में महीनों के अंदर करोड़ो रूपये की डकैती कर चोर -डाकू अपनी आजीविका चला रहे हैं, गरीबी जिस सांसद और विधायक को न दिखाई दे रहा हो वह मेरे साथ पांच गांव का दौरा कर ले, महंगाई के बारे में मुझे ज्यादा कुछ कहना नही आता , भ्रष्टाचार का आलम यह है कि अब तो सरकार भी कमीशन लेने लगी है ,सरकार का राजस्व बढ़े इसके लिए मुख्यमंत्री अपने मंत्रालयों का बैठक ले रहा है  मंत्री अपने अधिकारी को तलब कर रहा है आला अधिकारी हर काम मे कमीशन मांग रहा है

जिला के अधिकारी मांस, मदिरा निर्माण ,मरम्मत ,तोड़फोड़ ,नीलामी ,डकैती फिरौती ,कालाबजारी ,देहव्यापार सहित सभी क्षेत्रों में अपना हिस्सा तय कर रहा है।

ब्लॉक ,तहसील ,थाना ,कोर्ट, कचहरी ,कैंटीन हर जगह पर धन उगाही हो रहा है ,ब्लॉक अधिकारी ग्राम विकास की योजनाओं में कमीशन मांग रहा है ,तो सचिव प्रधान को बता रहा है प्रधान भी जनता के पैंसे को बंदरबांट करने के उद्देश्य से कमीशन खोरी के कार्यों में लिप्त हो रहा है ।

जनता का पैसा है , सरकार ,मंत्री,अधिकारी,
कर्मचारी ,मीडिया ,दलाल सब मिलकर खा रहे हैं उसके बाद ही तो सबका साथ सबका विकास और अच्छे दिनों की बात हो रही है।

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